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हमने 2025 तक 9450 करोड़ रुपये की बिक्री का लक्ष्य निर्धारित किया है

Torbit - December 09, 2023 - - 0 |
sachin Gawri

अपनी स्थापना के सिर्फ तीन साल की छोटी अवधि के भीतर ही, एनसीआर स्थित राइज इंफ्रावेंचर्स 250 करोड़ रुपये से भी अधिक का मूल्यांकन हासिल करते हुए एक लोकप्रिय रियल एस्टेट ब्रोकरेज फर्म के रूप में उभरी है। आज, गुड़गांव स्थित यह रियल एस्टेट कंसल्टेंसी, जो बड़े पैमाने पर ऊच्चस्तरीय आवासीय और वाणिज्यिक क्षेत्र में काम करती है, के 15000 से अधिक ग्राहक हैं और इसने 25 मिलियन वर्ग फुट रियल एस्टेट की बिक्री की सुविधा प्रदान की है।

सचिन गावरी और शांतनु गंभीर के मार्गदर्शन में राइज इंफ्रावेंचर्स के तीन कार्यक्षेत्र हैं। राइज होम्स 1 करोड़ रुपये से 2.5 करोड़ रुपये की रेंज में मध्य-खंड की संपत्तियों का सौदा  करवाता है, जबकि राइज इंफ्रावेंचर लग्जरी अपार्टमेंट और वाणिज्यिक रियल एस्टेट की बिक्री के क्षेत्र में कार्यरत है। वहीं राइज इंटरनेशनल भारतीयों को अंतर्राष्ट्रीय संपत्ति की बिक्री करवाने के साथ ही भारत में एनआरआई निवेश का सौदा करवाता है । वर्तमान में, कंपनी जिसके कार्यालय दिल्ली, गुड़गांव, मुंबई, दुबई और सिंगापुर में हैं, ने विस्तार के लिए कई महत्वाकांक्षी योजनाएँ तैयार की हैं। टॉर्बिट रियल्टी के साथ एक विशेष साक्षात्कार में, राइज इंफ्रावेंचर्स के संस्थापक और सीईओ, सचिन गावरी ने मूल्य निर्धारण के रुझान, लग्जरी रियल्टी के फिर से लोकप्रिय होने और कंपनी के विस्तार/विकास योजनाओं के बारे में बात की। प्रस्तुत हैं इस साक्षात्कार के प्रमुख अंशः   विनोद बहल

कंपनी के गठन के तीन वर्षों के भीतर आपने 250 करोड़ रुपये से अधिक का प्रभावशाली मूल्यांकन कैसे हासिल किया और आप इस स्थिति का लाभ किस प्रकार उठाना चाहते हैं?

हमने लग्जरी सेगमेंट में अपने मजबूत प्रदर्शन और अपने ग्राहकों की संख्या में बड़े विस्तार की वजह से ही यह अविश्वसनीय मूल्यांकन हासिल करने में सफलता प्राप्त की है। यह पिछले साल हुए हमारे बड़े पैमाने पर विस्तार और साथ ही  पश्चिमी भारत में अपने पदचिह्न को बढ़ाने और मुंबई और दिल्ली में हमारे नए कार्यालय खोलने का भी परिणाम है। आज, हमारे पास गुड़गांव और मुंबई में दो-दो कार्यालय और दिल्ली में एक कार्यालय है। हम ग्राहकों का विश्वास अर्जित करने में सक्षम हैं क्योंकि हम डीएलएफ, प्रेस्टीज, गोदरेज, लोढ़ा, हीरानंदानी, एम3एम, सिग्नेचर ग्लोबल जैसे शीर्ष डेवलपर्स के प्रोडक्ट्स बेचते हैं और पूरी पारदर्शिता के साथ निर्बाध सेवाएं प्रदान करते हैं।

आप किफायती आवास में गिरावट और लग्जरी रियल एस्टेट में हो रही वृद्धि की प्रवृत्ति को कैसे देखते हैं?

ऐसे चक्रीय चरण रियल एस्टेट में आम हैं, जैसे कि लगभग कुछ साल पहले किफायती आवास का बोलबाला था, आज लग्जरी आवास का चलन बढ़ रहा है। अगर हम बाज़ार के इतिहास को देखें तो ऐसे रुझान आम तौर पर 2-3 साल तक चलते हैं। वर्तमान में जैसी स्थिति है उसके अनुसार डेवलपर्स लग्जरी आवास पर अपना ध्यान केंद्रित करना जारी रखेंगे क्योंकि वे इस अवसर से चूकना नहीं चाहेंगे। लेकिन साथ ही यहां मैं यह भी जोड़ना चाहता हूं कि लग्जरी आवास निश्चित रूप से अभूतपूर्व प्रदर्शन कर रहा है, लेकिन उसके साथ ही किफायती आवास का प्रदर्शन भी बेहतर बना हुआ है।

ब्रोकरों द्वारा डेवलपर बनने की प्रवृत्ति बढ़ रही है। क्या आपके पास भी ऐसी कोई योजना है?

ऐसे समय में जब बहुत कुछ हमारे पक्ष में हो रहा हो तो हमारे लिए डेवलपर बनना बहुत ही आसान है। जैसे कि हमारा बिक्री का रिकॉर्ड उत्कृष्ट है और साथ ही हम अपनी अच्छी वित्तीय स्थिति के कारण पीडीसी पर भूमि प्राप्त कर सकते हैं और निर्माण के लिए ऋण भी प्राप्त कर सकते हैं। हम एसेट लाइट मॉडल से भी लाभ उठा सकते हैं और जेवी पार्टनर से इक्विटी के रूप में भी जमीन प्राप्त कर सकते हैं। वर्तमान में भूमि मालिक बिक्री साझेदारों की तलाश कर रहे हैं और हमें  बहुत अच्छे प्रस्ताव मिल रहे हैं, लेकिन हमने डेवलपर न बनने का रणनीतिक निर्णय लिया है। हमने यह निश्चित किया है कि हम रियल एस्टेट कंसल्टेंसी के अपने मुख्य व्यवसाय पर ही ध्यान केंद्रित करना जारी रखेंगे और वहां मौजूद अपार अवसरों का लाभ उठाएंगे।

जिस तरह से प्रॉपर्टी की कीमतें बढ़ रही हैंउसे देखते हुए प्रॉपर्टी बबल बनने का डर है। कृपया टिप्पणी करें।

मुझे प्रोपर्टी का कोई बबल बनता नहीं दिख रहा है। वर्ष 2012-13 का मामला अलग था। उस समय, बाजार अनियमित था और बुनियादी ढांचे का विकास भी कम था। इसके बावजूद गुड़गांव में डिलिवर किए जा चुके परियोजनाओं के मूल्य में सिर्फ 5-10 प्रतिशत की कमी आई थी। हालाँकि, आज रियल एस्टेट बाजार अच्छी तरह से विनियमित है और रेरा और आईबीसी जैसे सुधारों ने बाजार की धारणा के साथ-साथ प्रॉपर्टी उपभोक्ताओं के विश्वास में भी काफी सुधार किया है। इसके अलावा, मोदी सरकार द्वारा शुरू किए गए बुनियादी ढांचे के विकास के बड़े कार्यक्रमों ने रियल एस्टेट को कनेक्टिविटी के द्वारा बढ़ावा दिया है। इससे यह पता चलता है कि कीमत बढ़ने के बावजूद मांग ऊंची क्यों बनी हुई है। पहले यह एक अंतिम-उपयोगकर्ता बाजार था, लेकिन आज इस बाजार को अंतिम-उपयोगकर्ता और निवेशक दोनों ही चला रहे हैं। साथ ही, जैसे जैसे डॉलर मजबूत होता जा रहा है एनआरआई भी पर्याप्त निवेश कर रहे हैं। इस परिदृश्य में, मुझे कीमतें कम होती नहीं दिख रही हैं। ये अधिक से अधिक स्थिर रह सकती हैं, यदि ऊपर न जाएँ।

आपकी विस्तार/विकास की क्या योजनाएं हैं?

हमारी कुल बिक्री में एनआरआई की 20-30 प्रतिशत हिस्सेदारी है और इससे उत्साहित होकर  हम बढ़ते एनआरआई बाजार का दोहन करेंगे। हम यूके, ऑस्ट्रेलिया और यूएस (न्यूयॉर्क) के उच्च क्षमता वाले नए वैश्विक बाजारों में भी प्रवेश करेंगे। हम प्रवासी भारतीयों को भारतीय रियल एस्टेट में निवेश करने के लिए उत्साहित करने के अलावा विदेशी गंतव्यों में निवेश के लिए भारतीयों को आकर्षित करेंगे। हमारी रणनीतिक विस्तार योजना के तहत हम लखनऊ, ट्राइसिटी ऑफ चंडीगढ़, नोएडा, जयपुर सहित भारत के टियर 2 शहरों को लक्षित करेंगे। इन शहरों में बहुत आकर्षण है और लोग वहां अपना दूसरा घर रखना भी पसंद करते हैं। साथ ही, 2024-25 तक हमारी योजना बेंगलुरु बाजार में प्रवेश करने की है। इतना ही नहीं, हमारी पुणे के बाज़ार में भी उतरने की योजनाएँ चल रही हैं।

आपका फोकस क्षेत्र और लक्ष्य क्या होंगे?

दिल्ली-एनसीआर, मुंबई और दक्षिण भारत के बाजारों पर हमारा फोकस है। साथ ही हमारा फोकस सिर्फ प्राइमरी मार्केट पर ही रहेगा। वर्ष 2023 में कंपनी को 3000 करोड़ रुपये का कारोबार करने की उम्मीद है। वर्ष 2025 तक हमारा लक्ष्य 9490 करोड़ रुपये की बिक्री का है। राइज इंफ्रावेंचर्स का लक्ष्य अगले दो वर्षों में दिल्ली-एनसीआर में कम से कम 4 प्रतिशत बाजार हिस्सेदारी और मुंबई बाजार में 2 प्रतिशत हिस्सेदारी हासिल करना है।

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